खानकाह ए फैजाने वाहिद में मनाया गया जश्ने शमशुल आजम
वर्षों से खानकाह में जश्न बनाने की चली आ रही हैं परंपरा, आज भी जारी....सैय्यद फरीद आलम साबरी
क्लिक उत्तराखंड:-(बुरहान राजपुत) खानकाह ए फैजाने वाहिद में 14 रब्बी अव्वल की देर रात जश्ने शमशुल आजम मनाया गया।
इस दौरान बाहर से आए कव्वालो ने अपने अपने सूफियाना कलाम पेश किए। वही जश्न के दौरान फातिया ख्वानी के बाद देश की तरक्की खुशहाली की दुआएं मांगी गई।
दरगाह साबिर पाक के 756 वें सालाना उर्स के मौके पर बुधवार की देर रात खानकाह फैजान- ए- वाहिद में गद्दी नशीन सैय्यद फरीद आलम साबरी की सरपरस्ती में जश्ने शमशुल आजम मनाया गया। लंगर तकसीम करने के बाद महफिल- ए-शमा का आयोजन किया गया।
इस दौरान देश के कोने कोने से आये कव्वालों ने अपने अपने कलाम पेश किए, जिन्हें सुनकर महफिल में पहुंचे मुरीद झूमते नजर आए। कव्वाल आसिफ नियाजी उदयपुर ने साबिर पाक की शान में कलाम पढ़ा। बरेली, नवाब रामपुर, सहारनपुर, आगरा, मेरठ,सहित विभिन्न जगहों से आए कव्वालों ने भी सूफियाना कलाम पढ़े।
खानकाह फैजान-ए-वाहिद के गद्दीनशीन सैय्यद फरीद आलम साबरी ने साबिर पाक के उर्स की मुबारकबाद देते हुए कहा कि साबिर पाक के उर्स के दौरान जश्ने शमशुल आजम बनाने की परंपरा वर्षों से चली आ रही है। जिसको हर साल खानकाह ए फैजाने वाहिद में मनाया जाता है। उन्होंने बताया कि जश्ने शमशुल आजम के दौरान देश में अमन चैन और खुशहाली की दुआएं भी मांगी गई।
इस दौरान शाह खालिक मियां, सैय्यद शान मियां, सैय्यद रामिश जैदी, सैय्यद शोएब जैदी, सैय्यद हसन जैदी, सैय्यद वासिफ हुसैन,सैय्यद साकिर रजा, राव आफाक, राव अबरार, राव फरमान, कालू खान, जावेद खान, सैफ अली, राव एजाज,इमरान, राव फुरकान, समीर गौड़, चाहत, समेत अन्य अकीदत मुरीद/शिष्य मौजूद रहे।