माधोपुर प्रकरण में बड़ा अपडेट: कोर्ट ने 3 नामजद पुलिसकर्मियों समेत अन्य अज्ञात पुलिसकर्मियों के खिलाफ केस दर्ज करने के दिए आदेश, CO रैंक के अधिकारी करेंगे मामले की निष्पक्ष….
करीब एक साल पहले ही थी घटना, पुलिस की ओर से भी कई मुकदमे दर्ज

क्लिक उत्तराखंड:-(ब्यूरो) हरिद्वार जिले के माधोपुर में जिम ट्रेनर वसीम उर्फ मोनू सनसनीखेज प्रकरण मामले में कोर्ट ने सख्त रुख अपनाया हैं।

कोर्ट ने मृतक मोनू के चचेरे भाई के प्रार्थना पत्र का संज्ञान लेते हुए 3 नामजद पुलिसकर्मियों समेत अन्य अज्ञात पुलिसकर्मियों के खिलाफ संबंधित धाराओं में केस दर्ज करने के आदेश दिए हैं। इसके अलावा कोर्ट ने सनसनीखेज प्रकरण की CO रैंक के अधिकारी से निष्पक्ष जांच करने के आदेश भी दिए हैं।
विगत 24/25 अगस्त 2024 को सोहलपुर गाड़ा निवासी वसीम उर्फ मोनू की तालाब के पानी में डूबने से मौत हो गई थी। परिजनों ने सुनियोजित तरीके से उसकी हत्या करने का आरोप लगाते हुए गौ संरक्षण स्क्वायड टीम को उसका जिम्मेदार ठहराया था।
जिसकी चिंगारी प्रदेश के साथ अन्य प्रदेशों तक फैल गई थी। जिसको लेकर राजनीतिक संगठन से जुड़े नेता मृतक जिम ट्रेनर वसीम उर्फ मोनू की मौत के बाद से उसके घर पर पहुंच थे। और कुछ नेताओं ने सोशल मीडिया पर अपनी प्रतिक्रिया दे दी थी। वहीं इस प्रकरण को लेकर कई संगठनों ने धरना प्रदर्शन भी किया था।

जिसके बाद से ही आरोपित पुलिसकर्मियों पर केस दर्ज करने की मांग उठ रही थी। लेकिन करीब एक साल बीत जाने के बाद कोई मुकदमा दर्ज नहीं किया गया था।

अब इस प्रकरण में वरिष्ठ अधिवक्ता सज्जाद अहमद की मजबूत पैरवी के चलते हुए कोर्ट ने मृतक जिम ट्रेनर वसीम उर्फ मोनू के चचेरे भाई के प्रार्थना पत्र पर 3 नामजद उपनिरीक्षक शरद सिंह, कांस्टेबल सुनील सैनी, कांस्टेबल प्रवीण सैनी समेत अन्य अज्ञात पुलिसकर्मियों के खिलाफ 24 घंटों के भीतर गंगनहर कोतवाली पुलिस को संबंधित धाराओं में केस दर्ज करने के आदेश दिए है।
इसके अलावा कोर्ट ने एसएसपी हरिद्वार को सनसनीखेज प्रकरण की CO रैंक के अधिकारी से निष्पक्ष जांच करने के आदेश भी दिए हैं। जिसको लेकर एक बार फिर जिम ट्रेनर वसीम उर्फ मोनू सनसनीखेज प्रकरण गरमा गया है।